14+ प्राकृतिक उपाय | uric acid ayurvedic treatment in hindi

uric acid ayurvedic treatment in hindi के इस आर्टिकल में जानिए यूरिक एसिड क्या होता है? यूरिक एसिड बढ़ने के कारण तथा यूरिक एसिड के लक्षण, यूरिक एसिड आयुर्वेदिक उपचार और यूरिक एसिड आयुर्वेदिक मेडिसिन के बारे में। साथ ही यूरिक एसिड से बचने के उपाय, यूरिक एसिड में परहेज, यूरिक एसिड के नुकसान क्या-क्या हो सकते हैं?

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यूरिक एसिड क्या होता है – what is uric acid in hindi

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यूरिक एसिड (uric acid in hindi) एक प्रकार की रासायनिक पदार्थ है जो हमारे शरीर में बनता है। शरीर में कोशिकाओं का टूटना एक सामान्य प्रक्रिया है। इन कोशिकाओं के टूटने से यूरिक एसिड बनता है। इसके साथ ही, हमारे खाने से भी शरीर में यूरिक एसिड मिलता है। यूरिक एसिड प्यूरीन रसायन के टूटने से उत्पन्न होता है। जब प्यूरीन आपके खून में यूरिक एसिड में टूट जाता है, तो यह यूरिन या मल त्याग के माध्यम से शरीर से बाहर निकल जाता है। हालांकि, जब शरीर अधिक मात्रा में यूरिक एसिड उत्पन्न करता है या किडनी सही ढंग से काम नहीं करती है, तो यूरिक एसिड खून में जमा हो सकता है। परिणामस्वरूप यूरिक एसिड बढ़ने लगता है।

यूरिक एसिड बढ़ने के कारण – reason of uric acid in hindi

जब शरीर में यूरिक एसिड की मात्रा बढ़ जाती है, तो इसके कई कारण हो सकते हैं। इनमें से कुछ कारण हैं: उच्च रक्तचाप, मेटाबोलिक सिंड्रोम, बहुत ज्यादा शराब पीना, लेकिमिया, सोरायसिस, मोटापे के कारण, प्रतिरक्षा प्रसंस्करण दवाई लेना, किडनी की समस्या, प्यूरीन से भरपूर आहार मांस का सेवन, लिवर आदि खाना, सोडा ज्यादा पीना या जिनमें ग्लूकोज ज्यादा होता है उसे पीना, अत्यधिक नियासिन या विटामिन बी-3 का खुराक लेना यूरिक एसिड बढ़ने का कारण बन सकता है।

यूरिक एसिड के लक्षण – uric acid symptoms in hindi

यूरिक एसिड के लक्षणों में शामिल हो सकते हैं:

  • जोड़ों में दर्द और सूजन।
  • जोड़ों की स्थिरता में कमी।
  • जोड़ों की गर्दन में दर्द या अचानक चोट जैसा अहसास।
  • कोमल या सूजी हुई त्वचा।
  • पेट में दर्द या दुर्गंध।
  • पेशाब में अनियमितता या दर्द।
  • सांस लेने में कठिनाई या दर्द।
  • ऊर्जा की कमी या थकान।

यदि आपको इन लक्षणों में से किसी का अनुभव हो रहा है, तो डॉक्टर से सलाह लेना अत्यंत आवश्यक है।

यूरिक एसिड आयुर्वेदिक उपचार – uric acid ayurvedic treatment in hindi

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यूरिक एसिड को कम करने के लिए कई आयुर्वेदिक उपचार है। आहार में खाने के पदार्थों में शहद, गाजर, अदरक, तुलसी और घी का सेवन करें। उपचार में पुनर्नवा, त्रिकटु और गुडूची का उपयोग करें। व्यायाम और प्राणायाम को नियमित रूप से करें और स्ट्रेस को कम करने के लिए ध्यान का अभ्यास करें। इन सभी उपायों को अपनाकर यूरिक एसिड को कम किया जा सकता है। साथ ही निम्नलिखित प्राकृतिक जड़ी-बूटियों तथा घरेलू उपचार का उपयोग कर भी कम किया जा सकता है। जो इस प्रकार है:

यूरिक एसिड में अश्वगंधा के फायदे

अश्वगंधा यूरिक एसिड को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। अश्वगंधा के उपयोग से शरीर की प्रतिरक्षा शक्ति बढ़ती है, जो यूरिक एसिड के निर्माण को कम कर सकती है। यह प्राकृतिक रूप से शरीर को बूस्ट करके यूरिक एसिड की स्तर को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। इसके लिए अश्वगंधा के पाउडर या टैबलेट को शहद के साथ सेवन कर सकते हैं।

यूरिक एसिड में मूली के फायदे

मूली यूरिक एसिड की समस्या को कम करने में मदद कर सकता है। मूली में एंटीऑक्सीडेंट्स होता है साथ ही इसमें फाइबर आदि पोषक तत्व होता है। मूली के सेवन से शरीर से विषैले तत्व निकलता है। मूली किडनी स्वास्थ्य को भी सुधार सकता है। मूली के सेवन से यूरिक एसिड संतुलित रहता है। इसके लिए मुली को सलाद या सब्जी के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है।

यूरिक एसिड में प्याज

प्याज में मौजूद उपयोगी तत्वों के कारण यूरिक एसिड को नियंत्रित किया जा सकता है। इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स और विटामिन सी यूरिक एसिड के स्तर को कम कर सकता है। इसके अलावा प्याज में प्राकृतिक एंटी-इन्फ्लेमेटरी प्रॉपर्टीज होती है, जो शरीर की संतुलित गतिविधियों को बनाए रखने में मदद कर सकती हैं। प्याज को सलाद के रूप में सेवन करें।

यूरिक एसिड में आंवला के फायदे

यूरिक एसिड के स्तर को कम करने में आंवला का उपयोग किया जा सकता है। आंवला में प्राकृतिक रूप से उपलब्ध विटामिन सी होता है जो शरीर को यूरिक एसिड को निकालने में मदद करता है। आंवले के सेवन से जोड़ों के दर्द में राहत मिलता है। इसके अलावा आंवला में पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट्स भी शरीर को यूरिक एसिड के नुकसान से बचाने में मदद करते हैं। इसके लिए खाली पेट आंवले के रस के साथ एलोवेरा जूस का सेवन करें।

यूरिक एसिड में अलसी के फायदे

यूरिक एसिड में अलसी के फायदे हैं क्योंकि अलसी में विटामिन और खनिज होते हैं जो शरीर के यूरिक एसिड को संतुलित करने में मदद करते हैं। अलसी के बीज मधुमेह तथा हृदय स्वास्थ्य के लिए भी फायदेमंद होता है। इसके अलावा अलसी शांति और शारीरिक संतुलन को बढ़ावा देता है जो यूरिक एसिड के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करता है। इसके लिए अलसी बीज को खाना खाने के आधे घंटे बाद सेवन करें।

यूरिक एसिड में इलायची के फायदे

यूरिक एसिड के स्तर को नियंत्रित करने में इलायची का महत्वपूर्ण योगदान होता है। इलायची किडनी तथा हृदय स्वास्थ्य को बनाए रखने में भी मदद करता है। इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स के कारण, यह शरीर को विषाणुओं से बचाती है। अधिकतम लाभ प्राप्त करने के लिए दिन में दो छोटी इलायची का सेवन पानी के साथ करें।

यूरिक एसिड में मेथी – Benefits of fenugreek in uric acid

मेथी यूरिक एसिड को नियंत्रित करने में मदद कर सकती है। मेथी में पाए जाने वाले विटामिन सी और एंटीऑक्सीडेंट्स यूरिक एसिड के स्तर को कम करने में मदद करता है। मेथी के उपयोग से ब्लड शुगर लेवल को भी नियंत्रित किया जा सकता है। मेथी, गठिया और डायबिटीज की समस्या को भी कम करने में मदद कर सकता है।

यूरिक एसिड में दूध – milk benefits for uric acid in hindi

यूरिक एसिड बढ़ने से जोड़ों में दर्द और सूजन की समस्या हो सकती है। दूध में प्रोटीन और कैल्शियम पाया जाता है जो यूरिक एसिड को कम करने में मदद कर सकता है। इसके अलावा दूध विटामिन D और अन्य कई प्रकार के पोषक तत्व का खजाना है जो रोग प्रतिरोधक क्षमता के लिए फायदेमंद होता है।

यूरिक एसिड में लौकी का जूस

लौकी का जूस यूरिक एसिड को कंट्रोल करने में मददगार हो सकता है। लौकी में विटामिन-बी, विटामिन-सी, आयरन, फोलेट, पोटैशियम और मैग्नीशियम जैसे पोषक तत्व होता है, जो हड्डियों से जुड़ी समस्याओं को दूर करने के साथ-साथ यूरिक एसिड की समस्याओं को भी कम करने में मदद कर सकता है।

यूरिक एसिड में गिलोय के फायदे

गिलोय के तने से निकला रस यूरिक एसिड के इलाज में फायदेमंद होता है। यूरिक एसिड बढ़ने से जोड़ों में दर्द और सूजन की समस्या उत्पन्न होता है। गिलोय में पाए जाने वाले औषधीय गुण यूरिक एसिड को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। गिलोय में मौजूद गुण यूरिक एसिड का स्तर कम कर सकता है। इसके अलावा गिलोय में विशेष अवयव होते हैं जो शरीर से विषाक्त पदार्थों को मल और मूत्र के द्वारा बाहर निकालने में मदद करता है, जिससे यूरिक एसिड नियंत्रित रहता है।

यूरिक एसिड में नीम के फायदे

नीम यूरिक एसिड के स्तर को कम करने में मदद कर सकता है। नीम पत्तियां ब्लड को प्यूरिफाई करती हैं, जिससे यूरिक एसिड के स्तर को नियंत्रित किया जा सकता है। इसके लिए नीम की पत्तियों का रस उपयुक्त माना जाता है। इसमें नीम की पत्तियों का रस खाली पेट सेवन करें।

यूरिक एसिड में जैतून तेल के फायदे

यूरिक एसिड बढ़ने पर जैतून तेल का उपयोग फायदेमंद हो सकता है। जैतून के तेल में शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट्स होता है जो आपको यूरिक एसिड के दुष्प्रभाव से बचाता है। जैतून तेल के सेवन से एसिडिटी कम होती है जिससे यूरिक एसिड को नियंत्रित करने में मदद मिलती है। जैतून तेल को सलाद में या खाना बनाकर सेवन किया जा सकता है।

यूरिक एसिड में बथुआ के फायदे

यूरिक एसिड में बढ़ावा आमतौर पर गठिया और जोड़ों की समस्याओं का कारण बनता है। बथुआ यूरिक एसिड के लिए रामबाण दवा है। इस समस्या को नियंत्रित करने के लिए उपयुक्त आहार का सेवन करना आवश्यक होता है। बथुआ साग में विटामिन सी, फाइबर तथा अन्य पोषक तत्व होता है जो शरीर को स्वस्थ रखने में मदद करता है। इसके लिए खाली पेट बथुआ के पत्तों का रस का सेवन करें। इसे पीने के बाद डेढ़-दो घंटा के बाद भोजन करें। इस प्रयोग को सप्ताह भर जारी रखें।

यूरिक एसिड में अजवाइन के फायदे

अजवाइन में मौजूद एन्टीऑक्सीडेंट्स यूरिक एसिड को कम करने में मदद कर सकता है। अजवाइन में मौजूद विटामिन सी और एन्टीऑक्सीडेंट्स स्वस्थ रहने में मदद कर सकता है। इसके लिए अजवाइन को अपने डाइट में शामिल करें।

कृपया ध्यान दें:-

स्वस्थ्य जीवन शैली के लिए यह एक सामान्य जानकारी है इसे चिकित्सीय निर्देश या सलाह न समझें। आपका जीवन बहुमूल्य है, कृपया इसे व्यवहार में लाने से पहले डॉक्टर से उचित सलाह लेने की चेष्टा करें।

यूरिक एसिड आयुर्वेदिक मेडिसिन – uric acid ayurvedic medicine in hindi

चंद्रप्रभा वटी

चंद्रप्रभा वटी दर्द से राहत दिलाने में फायदेमंद है। चंद्रप्रभा वटी यूरिक एसिड को कम करने में मदद कर सकता है। इसके अलावा चंद्रप्रभा वटी जोड़ों के दर्द, गठिया वात के दर्द और जोड़ों की सूजन आदि को कम कर समाप्त कर सकता है।

त्रिफला

त्रिफला यूरिक एसिड को नियंत्रित करने के लिए एक उपयुक्त आयुर्वेदिक दवा हो सकता है। त्रिफला में बहेड़ा, हरड़ और आंवला फलों का संयोजन होता है, जो यूरिक एसिड को नियंत्रित करने में मदद करता है। इसके अलावा त्रिफला का इस्तेमाल कब्ज, पेट में गैस होना, पेट की सूजन आदि जैसे कई प्रकार की समस्याओं के इलाज में इस्तेमाल किया जाता है।

यूरिक एसिड से बचने के उपाय – uric acid control in hindi

यूरिक एसिड से बचने के लिए निम्नलिखित उपायों का पालन करें:

  • व्यायाम करें: नियमित व्यायाम करने से यूरिक एसिड की मात्रा कम हो सकती है।
  • प्रतिदिन पर्याप्त पानी पिएं: पानी पीने से शरीर के अंदर यूरिक एसिड की मात्रा को कम किया जा सकता है।
  • पौष्टिक आहार: फल, सब्जियां, अनाज और हरे पत्ते जैसे पौष्टिक आहार का सेवन करें।
  • प्रोटीन और प्युरिन युक्त खाने की मात्रा को कम करें, जैसे – मैकेरल (तैलीय मछली), लीवर, मटर, बियर। प्यूरीन इन चीजों में ज्यादा होता है।
  • शराब और नशीली पदार्थों का सेवन कम करें।
  • नियमित रूप से सुबह व्यायाम करें।
  • आहार में गाजर, मुली, अनार, खीरा आदि का अधिक सेवन करें।
  • अत्यधिक शीतल और तली हुई चीजों का परहेज करें।
  • डिम्पल्स और अन्य मसाज आसन करें।
  • निर्धारित मात्रा में नियमित रूप से लहसुन, प्याज, धनिया और पुदीना खाएं।

यूरिक एसिड में परहेज – uric acid avoid food in hindi

यूरिक एसिड में परहेज के लिए निम्नलिखित उपाय काम कर सकते हैं:

  • अत्यधिक प्रोटीन से बचें: अधिक मात्रा में मांस, मछलियाँ, समुद्री भोजन आदि को खाने से भी बचना चाहिए।
  • शराब और शराबी द्रव्यों का सेवन कम करें।
  • यूरिक एसिड में टमाटर: यदि आपके शरीर में यूरिक एसिड की समस्या बढ़ रही है, तो आपको टमाटर के अलावा फूलगोभी, पालक, मशरूम, हरी मटर, सूखी दाल और फलियों का अधिक सेवन नहीं करना चाहिए।
  • यूरिक एसिड में भिंडी परहेज करना चाहिए।
  • यूरिक एसिड में कटहल खाना चाहिए: यदि यूरिक एसिड उच्च है, तो कृपया कटहल न खाएं, क्योंकि इसमें अधिक फ्रुक्टोस होता है, जो यूरिक एसिड को बढ़ा सकता है।
  • यदि आपको यूरिक एसिड की समस्या है तो चना का सेवन कम करना चाहिए क्योंकि चने में प्रोटीन और प्युरिन की मात्रा अधिक होती है, जो यूरिक एसिड के स्तर को बढ़ा सकती है।
  • यूरिक एसिड में किशमिश: किशमिश सेहत के लिए फायदेमंद है, लेकिन यूरिक एसिड के मरीजों के लिए यह खतरनाक हो सकती है।

इन सावधानियों का पालन करने से यूरिक एसिड की स्थिति में सुधार हो सकता है।

यूरिक एसिड के नुकसान – uric acid side effects in hindi

यूरिक एसिड अधिक होने पर शरीर में गठिया, पथरी हो सकती हैं। इससे जोड़ों में दर्द, सूजन और स्थिरता की समस्याएं हो सकती हैं। घातक स्तिथि में किडनी समस्याएं, किडनी के पथरी, हृदय रोग, उच्च रक्तचाप, मधुमेह, फैटी लिवर की बीमारी आदि हो सकता है।

FAQ – uric acid ayurvedic treatment in hindi

यूरिक एसिड में क्या खाना चाहिए

यूरिक एसिड को नियंत्रित करने के लिए प्यूरीन से भरपूर फूड्स से बचें। ये फूड्स यूरिक एसिड को बढ़ा सकते हैं। उन लोगों को जिनका यूरिक एसिड उच्च है, डाइट में फाइबर से भरपूर खाद्य पदार्थों का सेवन करें, जैसे की चेरी, सेब, नाशपाती, स्ट्रॉबेरी, ब्लूबेरी, खीरा, अजवाइन, और गाजर।

यूरिक एसिड कैसे कम करें

यूरिक एसिड को कम करने के लिए आपको प्रोटीन संतुलित आहार लेना चाहिए, अधिक पानी पीना चाहिए, तीव्र आयाम की शारीरिक गतिविधियों का अभ्यास करना चाहिए, और अल्कोहल का सेवन कम करना चाहिए।

यूरिक एसिड कैसे बढ़ता है

यूरिक एसिड शरीर में प्युरिन नामक पदार्थों के विघटन के परिणामस्वरूप उत्पन्न होता है। अधिक मात्रा में मांसाहारी आहार, अधिक शराब पीना, तनाव और कुछ रोग यूरिक एसिड के स्तर को बढ़ा सकते हैं।

यूरिक एसिड का दर्द कहाँ कहाँ होता है

यूरिक एसिड के दर्द काफी स्थानों पर हो सकता है, जैसे कि घुटनों में दर्द, जोड़ों पर, पैरों में, हाथों में, उंगलियों के जोड़ों पंजों में और पैरों के अंगूठों आदि में।

यूरिक एसिड कितना होना चाहिए

यूरिक एसिड का स्तर महिलाओं में 2.4 से 6 और पुरुषों में 3.4 से 7.2 (mg/dL) मिलीग्राम प्रति डेसिलीटर के बीच होना चाहिए।

यूरिक एसिड बढ़ने से क्या होता है

यूरिक एसिड की बढ़ती मात्रा शरीर में जोड़ों की समस्याओं, किडनी की बीमारी और दिल के दौरे जैसी खतरनाक बीमारियों का कारण बन सकती है। इसके क्रिस्टल रूप में जमने से जोड़ों में दर्द की समस्या हो सकती है।

यूरिक एसिड में नींबू खाना चाहिए कि नहीं

विटामिन सी शरीर से यूरिक एसिड को बाहर निकालने में मदद करता है। रोजाना सलाद में आधा नींबू खाएं और दिन भर में कम से कम एक बार एक गिलास पानी में नींबू का रस मिलाकर पीएं।

यूरिक एसिड में कौन सी सब्जी खानी चाहिए

यूरिक एसिड बढ़ाने से खाद्य पदार्थों का चयन सावधानीपूर्वक करना जरूरी है। हरे सब्जियों में कई पोषक तत्व होते हैं जो यूरिक एसिड को संतुलित रखने में मदद कर सकते हैं। इसमें खीरा, ककड़ी, शिमला मिर्च, गाजर, फल और हरी पत्तेदार सब्जियाँ शामिल हैं। ये सब्जियाँ यूरिक एसिड को नियंत्रित करने में मदद करती हैं।

यूरिक एसिड में अंडा खाना चाहिए या नहीं

जी हाँ। खा सकते हैं। अंडा सेहत के लिए अच्छा है। इसमें कम मात्रा में प्यूरीन होने के कारण शरीर में यूरिक एसिड के स्तर को नियंत्रित कर सकता है।

यूरिक एसिड में roti खाना चाहिए या नहीं

जी हाँ, खा सकते हैं पर गेंहू के रोटी के बजाय बजारे की आटे की रोटी खाना चाहिए। बजारे की आटे में ज्वार के आटे को मिलाकर भी सेवन कर सकते हैं।

अंतिम संदेश

uric acid ayurvedic treatment in hindi के इस आर्टिकल में आपने जाना यूरिक एसिड क्या होता है? यूरिक एसिड बढ़ने के कारण तथा यूरिक एसिड के लक्षण, यूरिक एसिड आयुर्वेदिक उपचार और यूरिक एसिड आयुर्वेदिक मेडिसिन के बारे में। साथ ही यूरिक एसिड से बचने के उपाय, यूरिक एसिड में परहेज, यूरिक एसिड के नुकसान क्या-क्या हो सकते हैं? अगर आप इस तरह की प्राकृतिक चिकित्सया से संबंधित जानकारी पाने के लिए इंटेरेसटेड हैं तो हमारे ब्लॉग को subscribe करना न भूलें।

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नमस्कार दोस्तों, मैं इंडिया के सबसे बड़े लौहनगरी जमशेदपुर, झारखंड से हूँ। मैं इस ब्लॉग का लेखक और संस्थापक हूँ और इस ब्लॉग पर प्राकृतिक आयुर्वेदिक स्वास्थ्य, जड़ी-बूटियों की जानकारी, प्राकृतिक उपचार, घरेलू उपचार से संबंधित जानकारी नियमित साझा करता रहता हूँ।

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